तेरी मेरी कहानी PART-2
तो दोस्तों, अब तक आप सबने पढ़ा, कि अभिषेक और इशिका रोज़ शाम को चाय की टपरी पे एक ही वक़्त पे आते थे, मगर दोनों के बिच कभी बातें नहीं हुई। अचनाक से कुछ दिनों से इशिका ने चाय की टपरी पे आना बंद कर दिया था, तब अभिषेक को एहसास हुआ, की वह सच में उस बेनाम सी लड़की से प्यार करता था। मगर उसे लगता था, कि वो एक ना एक दिन फ़िर से इसी चाय की टपरी पर जरूर आएगी, अब आगे...
दिल में लिए उम्मीद, आँखों में लिए सपना, अभिषेक रोज़ वहाँ जाता था। उसे पता था की एक ना एक दिन वो उस चौराहें पे फिर से आएगी और वो अपने दिल की बात उस से ज़रूर करेगा। वक़्त बदला, दिन बदला, नहीं बदला तो सिर्फ अभिषेक का इंतज़ार और पीछे से एक दिन किसी लड़की की आवाज़ सुनाई दी।
इशिका : जी सुनिए।
( अभिषेक ने तुरंत पीछे मुड़ के देखा तो वो लड़की ( इशिका ) ही थी। दो पल के लिए जैसे उसके दिल की धड़कन रुक सी गइ हो, वो एक नज़र से इशिका को देखे जा रहा था, जैसे की उसकी तस्वीर वो अपनी आँखों में उतार रहा हो, और केह रहा हो, जैसे )
(" ऐ वक़्त पल दो पल यही थम जा ज़रा, आज मेरा यार मुझसे कुछ कह रहा है, ऐ वक़्त, पल दो पल यही थम जा ज़रा ।")
अभिषेक : ( ज़रा अपने आप को सँभालते हुए )
जी फरमाइए। वैसे तो अभिषेक के मन में बहुत से सवाल थे और कहने को तो बहुत सी बातें। मगर इशिका को देखते ही एक चूपी सी छा जाती थी लबो पे। आज वो सिर्फ उसे सुनना चाहता था।
अभिषेक : ( अभिषेक उसकी बाते सुनता ही रह गया और अपने आप को सँभालते हुए )
जी ज़रूर, क्यों नहीं।
(अभिषेक आगे कुछ बोले उसका नाम पता पूछे उतनी देर में तो )
इशिका : अच्छा ठीक है मैं चलती हूँ, कुछ काम हो तो ज़रूर बता देना।
अभिषेक : अरे मगर आपका नाम पता तो...
( इस के आगे वो कुछ बोले इस से पहले वो हवा के तेज़ झोके की तरह वहाँ से चली गई और अभिषेक उसको देखता ही रह गया। जैसे उसे कही जाने की बहुत जल्दी थी।)
आज अभिषेक को उसे कुछ बताना था, मगर यहाँ तो उल्टा ही हो गया, इशिका ही उसे बहुत कुछ सुना के चली गई। अभिषेक के पास अब उस से बाते करने का बहाना तो मिल गया था। उसने सोचा की चलो इसी बहाने बाते तो होंगी। मगर शायद अभिषेक को पता नहीं था की वो सच में कितनी बड़ी तकलीफ से गुज़र रही थी। दूसरे दिन वो फ़िर चौराहें पे जाकर उसका इंतज़ार करता है, मगर वो नहीं दिखी।
अभिषेक : ( मन ही मन )
शायद कोई ज़रूरी काम होगा तभी वो ना आ पाई, ये सोचकर अभिषेक वापस चला जाता है।
तो दोस्तों, क्या इशिका सच में अभिषेक से नौकरी की ही बात करने आई थी या कुछ और चल रहा था उसके मन में ?
इंतज़ार कीजिए Part-3 का
Bela...
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